
मेरठ संवाद सूत्र। नौचंदी मेले के उद्घाटन को लेकर विवाद खड़ा हो गया है। मेले के निमंत्रण पत्र में महापौर का नाम नहीं था और उनके आने से पहले ही फीता काटकर उद्घाटन कर दिया गया। इसी बात को लेकर महापौर नाराज हो गए थे। वो नौचंदी मेले के अन्य कार्यक्रम में शामिल नहीं हुए और पीछे जाकर बैठ गए थे। इस मामले में पार्षदों ने कलक्ट्रेट पहुंचकर मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन प्रशासनिक अधिकारी को दिया है। इस मामले में भाजपा पार्षदों ने मुख्यमंत्री और प्रभारी मंत्री धर्मपाल सिंह से शिकायत की। पार्षदों का कहना था कि महापौर शहर के प्रथम नागरिक और नगर निगम बोर्ड के अध्यक्ष हैं। उनके सम्मान को ठेस पहुंचाई गई है। जिससे पार्षद ही नहीं, शहर की जनता भी आहत है। यह प्रांतीय मेला है। वहां महापौर का अपमान बर्दाश्त नहीं होगा। प्रभारी मंत्री ने मामले को गंभीरता से लेते हुए कार्रवाई की। उन्होंने सीडीओ नूपुर गोयल को मेला प्रभारी पद से हटाकर नगर आयुक्त सौरभ गंगवार को यह जिम्मेदारी सौंप दी है। प्रभारी मंत्री ने महापौर से फोन पर की बात: जिलाधिकारी के आदेश के बाद अब मेले की पूरी व्यवस्था नगर निगम के हवाले रहेगी। इस पूरे मामले में 20 से अधिक पार्षदों ने सर्किट हाउस पहुंचकर प्रभारी मंत्री से मुलाकात की थी। इनमें कुलदीप राजेश वाल्मीकि, संजय सैनी और प्रवीण अरोड़ा प्रमुख थे।