इटावा एजेंसी। सर्राफा कारोबारी ने पत्नी और 3 बच्चों की हत्या कर दी, फिर घर का दरवाजा बंद कर भाग गया। 16 घंटे बाद डायल 112 को फोन किया। कहा- परिवार ने सुसाइड कर लिया। खुद भी ट्रेन से कट कर जान देने जा रहा हूं। वॉट्सऐप पर पत्नी, बच्चों का स्टेटस भी लगाया। लिखा- ये सब लोग खत्म। इसके बाद मोबाइल ऑफ कर लिया और पटरी के बीच में लेट गया। थोड़ी देर बाद मरुधर ट्रेन आई और ऊपर से गुजर गई। पटरी के बीच में होने से कारोबारी को मामूली खरोंच आई। इधर, सूचना मिलते ही जीआरपी जवान मौके पर पहुंचे। कारोबारी को रेलवे स्टेशन से हिरासत में लिया। सख्ती से पूछताछ की तो उसने जुर्म कबूल कर लिया। वहीं, कारोबारी का स्टेटस देखकर पड़ोसी उसके घर पहुंचे। देखा तो ताला लगा हुआ था। कमरे का ताला तोड़ा। अंदर बेड पर पत्नी, 2 बच्चे की लाश और सेकेंड फ्लोर पर छोटी बेटी का शव पड़ा हुआ था। मामला कोतवाली इलाके के लालपुरा का है। शुरुआती जांच में सामने आया कि पारिवारिक विवाद में कारोबारी ने पत्नी और बच्चों की हत्या की। सर्राफा कारोबारी का नाम मुकेश वर्मा है। मरने वालों में उसकी पत्नी रेखा वर्मा (45), बेटी भव्या (18), बेटी काव्या (16) और बेटा अभिष्ट (14) हैं। मुकेश दिल्ली से सोने की खरीदारी करता है। वह महीने में 8 से 10 दिन घर से बाहर रहता है। ज्वेलरी का सामान थोक व्यापारियों को देता है। बड़ी बेटी भव्या दिल्ली यूनिवर्सिटी से बीकॉम कर रही थी। वहीं, काव्या सोनी 12वीं क्लास की स्टूडेंट थी। मुकेश की दो शादी हुई थी। पहली पत्नी की शादी के दो साल बाद 2005 में मौत हो गई। भव्या पहली पत्नी की बेटी थी। बाकी दोनों बच्चे दूसरी पत्नी रेखा के हैं। मुकेश ने सोमवार की शाम करीब साढ़े 8 बजे खुद डायल 112 पर सूचना दी। पुलिस को बताया कि पत्नी और बच्चों ने सुसाइड कर लिया है। बेटी के मोबाइल फोन के वॉट्सऐप स्टेटस पर मृतकों की फोटो लगाकर कैप्शन लिखा- ये सब लोग खत्म। इसके बाद मोबाइल बंद कर लिया। स्टेटस देखते ही पड़ोसी कारोबारी के घर पहुंच गए। उन्होंने देखा तो घर का दरवाजा बंद था। दरवाजा खटखटाया, तो कोई रिस्पॉन्स नहीं आया। इसके बाद कारोबारी के बड़े भाई एडवोकेट रत्नेश को सूचना दी। थोड़ी देर बाद वह घर पहुंचे। इसके बाद घर का ताला तोड़ा गया। घर के अंदर नीचे वाले कमरे में बेड पर मुकेश की पत्नी रेखा वर्मा, बड़ी बेटी भव्या वर्मा और छोटे बेटे अभीष्ट के शव पड़े हुए थे। छोटी बेटी का शव सेकेंड फ्लोर पर कमरे में पड़ा था। थोड़ी देर बाद कोतवाली पुलिस भी पहुंच गई। फोरेंसिक टीम को बुलाया और जांच-पड़ताल की। आरोपी बोला- मुझे पछतावा नहींः आरोपी कारोबारी ने पुलिस को बताया- हम लोगों ने सामूहिक सुसाइड करने का प्लान बनाया था। पहले करवाचौथ पर सुसाइड करने का प्लान था, लेकिन पत्नी ने मना कर दिया था। सोमवार को फिर से सुसाइड करने का प्लान बनाया। सुबह 4 बजे मेरे सामने पत्नी ने फांसी लगाने की कोशिश की। मगर हम लोग फंदा नहीं लगा पा रहे थे। फिर पत्नी ने कहा- मुझे नींद की गोलियां दे दो। इसके बाद खुद जो करना हो, करो। फिर मैंने पत्नी की रस्सी से गला घोंटकर हत्या कर दी। आरोपी ने कहा -मुझे इस घटना को लेकर पछतावा नहीं: इसके बाद बच्चों को नींद की गोलियां खिलाईं और उनका भी गला घोंट दिया। इसके बाद वहां से भाग गया। मैं सुसाइड करने जा रहा था, ट्रेन के नीचे लेटा भी। सात डिब्बे ऊपर से गुजर गए। लेकिन मैं मरा नहीं। मुझे इस हत्याकांड पर पछतावा नहीं है।